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Swarth Shayari In Hindi
ये दुनिया स्वार्थ की हे जनाब
और इस स्वार्थ की दुनिया में
ऐसे खो जाती हे अछाईया जैसे
समंदर में नदिया।
किसी का इस्तमाल मत करो अपने
स्वार्थ के लिए
क्योकि दुनिया गोल हे साहेब
जो बोलोगे वही करोंगे
और जो बाटोगे वही पाओगे।
सबको फायदे की लगी बीमारी हे
कोई नहीं यहां किसी का
ये दुनिया स्वार्थ से चल रही हे
सब मतलब की रिस्तेदारी हे।
कोई न कोई स्वार्थ होता हे हर
मित्रता के पीछे
ऐसी कोई मित्रता नहीं जिसमे
स्वार्थ न हो।
अगर भावनाओ से रिस्तो की सिलाई
हुई हे तो टूटना मुश्किल हे
और स्वार्थ से हुई हे तो टिकना
मुश्किल हे।
कितनी भी कोशिश करले स्वार्थ से
रिश्ते बनाने की मगर बनेंगे नहीं।
और प्यार से बने रिश्ते तोड़ने में
चाहे कितनी भी कोशिश करलो
मगर टूटेंगे नहीं।
स्वार्थ पूरा हो जाता हे जब इंसान का
तब आपसे मिलना तो दूर आपसे
बोलना भी बंध कर देता हे।
बिना किसी स्वार्थ और शर्त से होती हे
सच्ची दोस्ती
और जो शर्तो पे हो दोस्ती वो दोस्ती
नहीं सौदा होता हे।
Swarth Shayari Image
स्वार्थ के कोहरे से चहु और अंधत्व युग हे
जहा स्व के अतरिक्त नहीं
दीखता कुछ।
निस्वार्थ रखिये सेवा का भाव रखते हो तो
और प्यार का भाव रखते हो तो
दिल से रखिये
जिन रिस्तो में रहता हे स्वार्थ का भाव
उन रिस्तो से हमेशा दुरी रखिये।
किसी से क्या आस लगाना इस
स्वार्थी दुनिया में
अरे कोई किसी का नहीं होता तो
तो क्यों किसी का आने का
आस लगाना।
इंसान ईश्वर से भी रिस्ता नहीं रखता
बिना स्वार्थ के तो
पूरी दुनिया की लालसा रखता हे इक्कीस
रुपये की प्रसाद में भी
और वो ईश्वर को चढ़ायेंगा काम
होने के बाद।
शुक्रिया ये स्वार्थ तेरा
एक तू ही हे जिसने लोगो को
जोड़ के रक्खा हे आपस में।
बिना किसी स्वार्थ के इस दुनिया में
सिर्फ माँ ही प्यार कर सकती हे।
ये दुनिया स्वार्थ के पीछे भागने वाली हे
नहीं रूकती ये किसी के लिए
हमे खुद रोकना पड़ता हे।
बड़ी भुलक्क़ड हे दुनिया
वह तो उतना ही याद रखती हे
जितने से उसका स्वार्थ सधता हे।
Swarth Shayari 2021
बवजूद विस्वाश तोड़ने वाला होता हे
विस्वाश करने वाले से ज्यादा
क्योकि वो छोटे स्वार्थ के लिए
एक इंसान को खो देता हे।
मजबूत करना धीरे धीरे पकड़
और कसकर जकड़ लेना
एक ना एक दिन स्वार्थ कहलायेगा।
धन्यवाद का हकदार वही हे हकीकत में जो
बिना स्वार्थ के मदद करने तैयार हे।
सूना था किसि से ये दुनिया मोहब्बत से
चलती हे
ये स्वार्थ की दुनिया हे करीब से
जाना तो समझे
बस जरूरत से चलती हे।
छोड़ देना चाहिए स्वार्थी इंसान को
क्योकि उसमे सुधार की
गुंजाइश न के बराबर होती हे।
दुश्मनी बन जाती हे दोस्ती भी
जब उन्हें अपना स्वार्थ नजर
आता हे।
हर रिस्ता दिल से निभाता हु स्वार्थ
छुपा ही इसमें मेरा
सच ये हे की अपनी अर्थी के पीछे
काफिला चाहता हु।
क्यों रहा टहल स्वार्थ की दुपहरी में
तन मन झुलसा देखा अपनों का छल।
Best Swarth Shayari
स्वार्थ में अब सब सच्चाई छुप गई हे
अब झूठ ने जगह बनाई हे।
( ये पोस्ट पढ़ने के लिए धन्यवाद )